खाली पैर जमीन पर चलने के कितने फैदे ? क्या है नंगे पैर चलने का 7 फ़ायदा ?
समाज विकास संवाद!
न्यू दिल्ली,
खाली पैर जमीन पर चलने के कितने फैदे ? क्या है नंगे पैर चलने का 7 फ़ायदा ? क्या जमीन पर नंगे पैर चलने के कोई फायदे हैं? कियूं कभी-कभी जमीन पर चलना जरूरी होता है?
आज हम चर्चा करेंगे एक अति साधारण प्रयोग को हमारी अपनी दैनंदिन जीवन चर्या में शामिल करने के बारे में!
नंगे पैर चलने का 7 फ़ायदा! प्राचीन आयुर्वेदिक जीवन चर्या की पद्धति के प्रति दुर्लक्ष्यता जानलेवा है!
आजकाल के दौर झांप वाली जिन्दगी में इन्सान खुद के शहत को लेकर चिंतित तो है,
परन्तु समय के कमी के कारण आपने शारीर के प्रति दुर्लक्ष करते रहते है!
ऐसी परिस्थिति में अत्यधिक चिंता का उद्रेक हो रहा है,
जिसके फल स्वरुप शारीरिक एवं मानसिक स्ट्रेस हम सभी को भीतर से बीमार ओउर ज्यादा बीमार बना रहा है!
लगभग सभी लोग हमारे प्राचीन आयुर्वेदीय जीवन पद्धति के बारे में जानते नहीं,
अथवा जानकारी के बावजूद उन छोटी छोटी प्रक्रिया को रोजाना के जीवन में शामिल नहीं करते है!
आजकाल, मधुमेह, हृदरोग, कैंसर जैसे जानलेवा बीमारियों का भरमार है! इस परिस्थिति का मुख्य फ़ायदा दवाई बनाने बाली संस्थाए भरपूर मात्रा में उठा रहा है!
हमारी आपनी गलतियाँ अर्थात हमारे पास आसानी से उपलब्ध प्राचीन आयुर्वेदिक जीवन जापन की पद्धति के प्रति
नज़र-अंदाज़ करना ही हमारे जीवन में एक काल के रूप में प्रवेश कर रहा है!
इस भयंकर परिस्थितियां से बाहर निकलने के लिए कुछ अति साधारण प्रयोग को आपने जीवन में सामिल करना ही बुद्धिमानी का परिचय होगा!
ऐसा ही एक प्राचीन सुस्थ जीवन चर्या की दैनंदिन पद्धति है कम से कम १५ मिनिट तक खाली पैर हरे भर घास के मैदान पर अथवा खुली जमीन पर चलना!
नंगे पैर चलने का 7 फ़ायदा! सुबह नंगे पैर चलने से शरीर और दिमाग में काफी सुधार होता है।
प्रकृति के सभी तत्व किसी न किसी रूप में हमारे लिए उपयोगी हैं,
प्राकृतिक चीजें कभी भी इंसान या जानवर को नुकसान नहीं पहुंचाती हैं।
इसी तरह जमीन पर नंगे पांव चलने के भी कई फायदे हैं।
अगर आप सुबह नंगे पैर चलते हैं तो इससे आपके शरीर और दिमाग में काफी सुधार होता है।
इसके बारे में विज्ञान ने बहुत सी जानकारियां दी हैं।
सुबह नंगे पांव चलने के कई फायदे हैं;
जो हमारे मुख्यधारा के समाज के हर समय जूते पहनने पर जोर देने से कहीं अधिक हैं।
नंगे पैर चलने के कुछ फायदे इस प्रकार हैं!
क्या है नंगे पैर चलने का 7 फ़ायदा ?
शरीर में उपस्थित नकारात्मक इलेक्ट्रॉन एवं फ्री रेडिकल्स का निर्गमन!
1) शरीर में उपस्थित नकारात्मक इलेक्ट्रॉन एवं फ्री रेडिकल्स का निर्गमन!
आजकाल की मिलावट की खाने पिने की वस्तुए, साथ ही साथ मोबाइल् टावर की रेडिएशन,
एवं वायु दूषण के कारण प्रकृति में फ्री रेडिकल्स हमारे शरीर में निरंतर प्रवेश कर रहा है!
यह हमारे शरीर के भीतर की उर्जा एवं कोशिकाओं को नष्ट कर देता है,
जब हम सुबह नंगे पांव चलने है तब, जमीन की मिट्टी हमारे पैर के नीची भाग को छुं कर सीधे हमारे शरीर में उपस्थित
नकारात्मक इलेक्ट्रॉनों को एक तरह से शोषण कर लेता है,
इसी प्रक्रिया के फल स्वरुप हमारे कोशिकाओं में उपस्थित फ्री रेडिकल्स भी काफी मात्रा में हमारी शारीर से निकाल जाता है!
सुबह हरी घास पर नंगे पांव चलने से रक्त संचार सुचारू रूप शुरू हो जाता है!
2 ) सुबह हरी घास पर नंगे पांव चलने से रक्त संचार सुचारू रूप शुरू हो जाता है!
कई बार अत्यधिक काम करने के बाद शरीर थक जाता है,
ऐसी दिनों में अत्यधिक थकान के कारण शरीर के पिछले हिस्से में, अथवा पैरों में दर्द या जलन महसूस हो सकती है।
यदि हम सुबह हरी घास पर नंगे पांव चलने से रक्त संचार सुचारू रूप शुरू हो जाता है,
इसी का फल स्वरुप हमें इस दर्द से सम्पूर्ण राहत मिलती है।
खाली पैर चलने से शरीर की रक्त कोनिका सठिक मात्रा में संतुलित रहता है!
3 ) सुबह खाली पैर चलने से शरीर की श्वेत रक्त कोनिका एवं लाल रक्त कोनिका सठिक मात्रा में संतुलित रहता है!
सुबह खाली पैर मिटटी में चलने पर हमारे शरीर की श्वेत रक्त कोनिका एवं लाल रक्त कोनिका सठिक मात्रा में संतुलित रहता है!
लाल रक्त कोनिकाओं में बृद्धि होती है, यह शारीर की रक्ताल्पता अर्थात अनेमिया जैसे बीमारियों को ठीक करता है!
यह हमारी प्रतिरक्षा प्रणाली को मजबूत करने में मदद करती है।
खाली पैर चलने से हृदय रोग का खतरा कम हो जाता है।
4 ) खाली पैर चलने से हृदय रोग का खतरा काफी कम हो जाता है।
नंगे पैर चलने से लाल रक्त कोशिका के स्तर को बढ़ाने में मदद मिलती है।
नतीजतन, कोशिकाएं रक्त के थक्के को रोकती हैं, जिससे रक्त घनत्व कम हो जाता है।
चूंकि उच्च रक्तचाप का सीधा संबंध हृदय रोग के जोखिम से है,
नंगे पैर चलने से हृदय रोग का खतरा काफी कम हो जाता है।
शारीर की धनात्मक आवेश अर्थात पॉजिटिव चार्ज जमीन के संस्पर्श में आकर डिस्चार्ज हो जाता है!
5 ) शारीर की धनात्मक आवेश अर्थात पॉजिटिव चार्ज जमीन के संस्पर्श में आकर प्राकृतिक रूप से डिस्चार्ज हो जाता है !
सुबह घर से बहार जाना, किसी हरे भरे घास वाली गार्डन में घूमना सभी को पसंद है!
गार्डन में टहलना स्वाभाविक रूप से हमारी मानसिक स्थिति को नियंत्रित करता है अर्थात, मन अच्छा हो जाता है।
और अगर इस दौरान शरीर को सीधे जमीन के संपर्क में लाया जा सके तो चिंता और तनाव स्वाभाविक रूप से और कम हो जाता है।
मिट्टी में हमेशा एक ऋणात्मक आवेश अर्थात नेगटिव चार्ज होता है और,
हमारे शरीर निरंतर धनात्मक आवेश अर्थात पॉजिटिव चार्ज वाली विद्युत चुम्बकीय उपकरण से घेरे रहने के कारण इन तरंगों के नियमित संपर्क में रहते है!
आजकाल इसी के कारण हमारे शरीर में हमेशा एक धनात्मक आवेश अर्थात पॉजिटिव चार्ज होता है।
प्रतिदिन सुबह खाली पैर घास के अथवा मिटटी वाली जमीन पर चलने से हमारी शारीर की धनात्मक आवेश अर्थात पॉजिटिव चार्ज जमीन के संस्पर्श में आकर प्राकृतिक रूप से डिस्चार्ज हो जाता है !
इसलिए, अच्छे शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य को बनाए रखने के लिए लंबे समय तक मिट्टी के संपर्क में रहना अत्यंत महत्वपूर्ण है।
नंगे पैर जमीन पर चलने से नींद गहेरी व् अच्छी होती है!
6 ) नंगे पैर चलना या जमीन के संपर्क में रहना नींद की प्रक्रिया को सठीकता से नियंत्रित करता है!
मनुष्यों सहित सभी जीवित चीजें एक जैविक प्रक्रिया का पालन करती हैं जिसे सर्कैडियन घड़ी के रूप में जाना जाता है।
नंगे पैर चलना या जमीन के संपर्क में रहना नींद की प्रक्रिया को नियंत्रित कर सकता है और,
जैविक घड़ी को रीसेट करने में मदद कर सकता है।
पर्यावरण प्रदूषण के अलावा प्रकाश, वायु, रसायन, कई अन्य कारक हमारी नींद की प्रक्रिया को बाधित करते हैं।
इसलिए, जब मिट्टी के संपर्क में आते हैं,
तो इसके नकारात्मक इलेक्ट्रॉन सर्कैडियन घड़ी और अन्य जैविक प्रक्रियाओं की लय में मदद कर सकते हैं।
खाली पैर जमीन पर चलने से माइग्रेन का सिरदर्द दूर होता है!
7 ) खाली पैर जमीन पर चलने से माइग्रेन का सिरदर्द दूर होता है!
आम तौर पर, विभिन्न हानिकारक किरणों के प्रभाव से माइग्रेन होता है, एवं माइग्रेनके कारन सिरदर्द बढ़ सकता है।
अतः यदि कोई नंगे पैर चलता है या शरीर को जमीन के संपर्क में लाता है तो;
यह शरीर को हानिकारक किरणों के प्रभाव से मुक्त कर सकता है।
और इस तरह से माइग्रेन के कारण होने वाले सिरदर्द दूर हो सकता है।
इस प्रकार नंगे पैर चलने को ग्राउंडिंग या अर्थिंग कहा जाता है।
नंगे पैर मिटटी के व्यतिरिक्त हरी घास, पानी या रेत पर चलने से भी कई फायदे होते हैं। जिनके बारे में हम आगे चर्चा करेंगे…
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