विज्ञान
तलाक के लिए ऐप, मिलेंगी सारी कानूनी जानकारियां।
मुंबई की एक तलाक मामलों की वकील वंदना शाह ने खास ऐप तैयार किया है। इस ऐप के जरिए तलाक से संबंधित किसी भी जानकारी को आसानी से हासिल किया जा सकेगा। ये ऐप ऐसे लोगों के लिए बड़े काम की चीज है जो अपने जीवनसाथी से तलाक लेना चाहते हैं, लेकिन उन्हें कानूनी मामले की पूरी जानकारी नहीं है। ऐसे लोग इस ऐप के जरिए तलाक से संबंधित पूरी जानकारी पा सकेंगे।
अरब सागर में भयानक तूफान ओखी का खतरा
तमिलानाडु और केरल में हाहाकार मचाकर 16 लोगों की बलि लेने वाले ओखी चक्रवात के बादल अब अरब सागर में तैयार हो गए हैं। मौसम विशेषज्ञों का अनुमान है कि ये बादल मुंबई के समुद्र तट से दक्षिण दिशा में एक हजार किलोमीटर की दूरी पर है। इन चक्रवाती बादलों की वजह से मुंबई सहित कोकण में तेज हवाएं चलेंगी और बारिश हो सकती है।
बच गया व्हाट्स अप्प ग्रुप एडमिन नहीं होगा गिरफ्तारी 66A के तहत-उच्च न्यायालय ने दिया आदेश।
पिछले कुछ दिनों से चल रहे व्हाट्स अप्प यूजर के बिबादो पर माननीय उच्च न्यायालय ने शुनाया ये आदेश , इस आदेश के तहेत पुलिस के पास आब नहीं होगी किसी भी व्हात्सप्प यूजर को गिरफ्तार करने की परवानगी , भारतीय दंड संहिता के अनुसार इनफार्मेशन टेक्नोलॉजी में लागू धारा 66A का प्रयोग कर पुलिस वाले बेधरक गिरफ्तारी नहीं कर सकेंगे.
महाराष्ट्र में नदियों को जोड़ेने वाली 26 परियोजनाओं को मिली मंजूरी!
पूर्व प्रधनमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के नदियों को जोडऩे वाली परियोजना के सपने को मौजूदा केंद्र सरकार पूरा करने के लिए कमर कस चुकी है। केंद्र सरकार ने देश के तमाम बड़ी नदियों को जोडऩे वाली 99 परियोजनाओं को मंजूरी दे दी है, जिसमें से 26 परियोजना महाराष्ट्र से जुड़ी हुई हैं।
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टूटकर अलग हुआ महाद्वीप का हिस्सा, विश्व के लिए बन सकता है खतरा।
के साथकरीब एक सदी से इंसानों द्वारा पर्यावरण किए जा रहे छेड़छाड़ से उत्पन्न हुएविश्व के लिए खतरा घातक साबित हो सकता है। इस एक सदी में विश्व की जनसंख्या बढ़तीजा रही है। इस बढ़ती जनसंख्या के साथ-साथ इंसानों की जरूरतें भी बढ़ती जा रही है,जिसे पूरा करने के लिए नए-नए आविष्कार भी किए जा रहे हैं और इसी के साथपर्यावरण के साथ छेड़छाड़ कर पर्यावरण का संतुलन भी बिगड़ता जा रहा है।
ई-आधार कार्ड को रेल यात्रा के लिए निर्धारित पहचान पत्र के रूप में अनुमति – रेल मंत्रालय।
रेल मंत्रालय ने यात्रा के दौरान मुद्रित आधार कार्ड के समान पहचान के निर्धारित प्रमाण केरूप में डाउनलोड किए गए आधार (ई-आधार) को भी शामिल करने का निर्णय लिया है।जिससे यात्रिओ को अख्सर होने वाले मुसीबतों से छुटकारा मिलेगा ऐसा अनुमान रेल मंत्रालयद्वारा लगाये जा राहा है !